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..और इस तरह कहें अपनी जिंदगी से डिप्रेशन को गुडबाय

समरनीति सेहतः  आंखों में ढेरों सपने सजाकर आज हर इंसान तरक्की की होड़ में अंधी दौड़ दौड़ता जा रहा है। रोजमर्रा की जिंदगी में सबुकछ इतना अशांत और तेजी से गुजर रहा है कि लोग खुद का आस्तित्व ही भूलते जा रहे हैं। यही वजह है कि हर कोई आज मन की शांति खो चुका है। मन की हलचल और परेशानियां जल्द ही दिमाग में भी घर बना लेती हैं। यही वजह है कि ज्यादातर लोग अशांतमन से जिंदगी जी रहे हैं और देर-सवेर डिप्रेशन का शिकार हो रहे हैं।

डिप्रेशन हो हावी तो हालात नहीं , खुद को बदलने की करें कोशिश 

जिंदगी सुख-दुख दो पाटों के बीच में चलती है। कभी हमें सुख मिलता है तो कभी दुख का भी एहसास होता है। जब चीजें हमारे मन की नहीं होती हैं तो हम दुखी हो जाते हैं। दुख ज्यादा गहरा होता है तो धीरे-धीरे हम डिप्रेशन में चले जाते हैं।  एक समय ऐसा आता है कि डिप्रेशन के शिकार व्यक्ति को कुछ भी अच्छा नहीं लगता है और अपनी जान तक देने पर अमादा हो जाता है।

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कई घटनाक्रम जैसे नौकरी चले जाना, हमारे किसी अपने का बीच में साथ छोड़ जाना या जीवनसाथी से रिश्ता टूट जाना हमारे मन पर गहरा प्रभाव डालते हैं जो हमे डिप्रेशन में ले जाते हैं। धीरे-धीरे हम बीमार होते जाते हैं और दोबारा मुख्यधारा में जुड़ने में समय लग जाते है। हम मन से इतने कमजोर होते जा रहे हैं कि अब बड़े ही नहीं बच्चे भी डिप्रेशन के दायरे में आ रहे हैं।

सावधान रहिए, क्योंकि इन वजहों से होता है डिप्रेशन 

  • किसी नजदीकी या दिल के करीब व्यक्ति की मौत या बिछड़ जाना।
  • अचानक नौकरी छूट जाना और नई नौकरी ना मिलना।
  • करीबी रिश्ता टूट जाना या जीवनसाथी से अलगाव हो जाना।
  • व्यक्ति का नाकारात्मक नजरिया उसे डिप्रेशन में ले जाता है।
  • किसी व्यक्ति को थायरायड की समस्या होना से भी वह डिप्रेशन में जा सकता है।
  • दवाओं के साइड इफैक्ट से भी कोई व्यक्ति डिप्रेशन में जा सकता है।
  • नकारात्मक लोगों के संपर्क में रहने से भी हमारा नजरिया बदलता है और हम डिप्रेश होने लगते हैं।

ये बातें बताती हैं कि आप हो चुके हैं डिप्रेशन का शिकार  

किसी भी काम में मन न लगना, कुछ भी करने में रुचि बाकी न बचना। किसी बात से भी खुश न होना। यहां तक कि दुख का एहसास भी न होना। हर वक्त नकारात्मक सोच रखना। हर विषय में नकारात्मक विचार रखना। नींद बहुत ही कम आना और रात में दो-तीन बजे नींद से जाग जाना।

डिप्रेशन से बाहर आने के लिए इन तरीकों को अपनाए, बदल जाएगी जिंदगी  

हर किसी को एक सपोर्ट सिस्टम की जरूरत होती है। मतलब हर इंसान के पास अच्छे दोस्त, रिश्तेदार और परिवार का कोई न कोई ऐसा सदस्य होना चाहिए, जिससे वह दिन की बात कह सके। इसलिए अपने सपोर्ट सिस्टम को हमेशा मजबूत रखें। अपने नजरिये को पाजीटिव बनाए। नकारात्मक सोच और नजरिया हमें कभी आगे नहीं बढ़ने देता है।

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समस्याएं सबके सामने आती हैं इस बात को याद रखें। खुद को यह समझाएं। हमें खुद से ही लड़ना और जीतना है। डिप्रेशन होने पर एक अच्छे मनोवैज्ञानिक से सलाह लें और उसकी बातों को जीवन में उतारें। नियमित और समय से नींद लेना और दिन में न सोना।

इन छोटी-छोटी मगर काम की बातों से कम कर सकते हैं जिंदगी में तनाव  

स्वस्थ शरीर में ही स्वस्थ दिमान होता है इसलिए अच्छा और पौष्टिक भोजन करें। समय पर खाना और समय पर सोना, ये दोनों अच्छे तनावरहित जीवन के महत्वपूर्ण टिप्स हैं। जहां तक संभव हो खुश रहना चाहिए। दिल पर कोई बोझ न रखें और मस्त रहें। सबसे बड़ी और महत्वपूर्ण बात, परेशानियों में घबराएं नहीं बल्कि प्रार्थनाएं करते रहें।

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प्रार्थनाओं में अद्भुत शक्ति होती है। जो हमें मुसीबत के समय ताकत देती है। अपनी दिनचर्या में हम सबको मेडिटेशन और योगा या फिर एक्सरसाइज को शामिल करना चाहिए। जितना संभव हो खाली न रहें , व्यस्त रहें। पुरानी कहावत है खाली दिमाग का शैतान का होता है।